आठ लोगों की मौजूदगी में पंडित ने पूरी कराई शादी की रस्में
रिपोर्ट मनप्रीत सिंह
रायपुर छत्तीसगढ़ विशेष : लॉक डाऊन ने ना केवल पूरे देश के जनजीवन को अस्त-व्यस्त कर दिया है।वरन इसके कारण अनेक जोड़ों की अप्रैल और मई में होने वाली तयशुदा शादियां खटाई में पड़ती नजर आ रही हैं। लॉक डाउन के हालात और कोरोना वायरस के संक्रमण की आशंका को देखते हुए अनेक परिवारों ने (जिनकी संख्या सैकड़ों से हजारों में हैं) अपने परिवार में होने वाली शादियों को स्थगित कर दिया है। वहीं ऐसे परिवारों की भी कोई कमी नहीं है, जिन्होंने अपने परिवार के शादियों समारोह के तयशुदा आयोजन को आगे बढ़ाने अथवा रद्द करने की बजाए हालात से समझौता करते हुए बेहद सादगी पूर्ण माहौल में विवाह की रस्म पूरी करने का निर्णय लिया है। ऐसे ही परिवारों में बिलासपुर के धरम कोटवानी और जूना बिलासपुर निवासी राजेश त्रिपाठी का परिवार भी शामिल है। बिलासपुर के रामा वेली निवासी धरम कोटवानी के बेटे निखिल कोटवानी की शादी जूना बिलासपुर में रहने वाले राजेश त्रिपाठी की बेटी विराल से इसी अप्रैल माह की 5 तारीख को होनी थी।लेकिन कोरोनावायरस के संक्रमण और उसके कारण 14 अप्रैल तक लागू हुए लॉक डाउन को देखते हुए शादी पोस्टपोंड कर दी गई। तब उन्हें उम्मीद थी कि 21 दिनों का लॉक डाउन 14 अप्रैल को समाप्त होने के पश्चात नई तिथि निकालकर विवाह की रस्म अदा कर दी जाएगी।
लेकिन जब 14 अप्रैल को लॉक डाउन समाप्त नहीं हुआ और इसे आगे 3 मई तक बढ़ा दिया गया। तब इन परिवारों ने एक अद्भुत व अनूठा निर्णय लिया। इस बार इन्होंने शादी को और आगे ना टालते हुए, यह तय किया कि अब विवाह की रस्म 15 अप्रैल को पूरी सादगी से पूरी की जाएगी। तदनुसार रामा वेली निवासी धरम कोटवानी के बेटे निखिल और जूना बिलासपुर निवासी राजेश त्रिपाठी की बेटी विराल का विवाह रामा वेली में धरम कोटवानी के निवास में ही मात्र 8 लोगों की मौजूदगी में संपन्न किया गया। इस परिवार के शुभचिंतक किशोर ग्वालानी ने बताया कि विवाह के दौरान सैनिटेशन एवं सोशल डिस्टेंसिंग का पूरा ध्यान रखा गया।सभी लोग एक दूसरे के साथ पूरा डिस्टेंस बनाकर बैठे रहे।इस कार्य को बड़े ही सराहनीय और अनुकरणीय रूप से अंजाम दिया गया। इन परिवारों ने बदले हालात में सादगी से शादी समारोह संपन्न कराकर उस कहावत को सही साबित कर दिया है, जिसमें कहा गया है कि..जहां चाह..वहां राह.