राज्य में बसों के जल्द चलने की कोई उम्मीद नहीं, बस संचालकों ने रखी मांगे, शासन से अब तक नहीं मिला जवाब
रिपोर्ट मनप्रीत सिंह
रायपुर छत्तीसगढ़ विशेष : बस संचालकों और परिवहन विभाग के बीच बस आपरेटर संघ की मांगों को लेकर समन्वय नहीं बन पाया है जिसके कारण राज्य सरकार से अनुमति मिलने के बाद भी शनिवार को बसों के चक्के थमे रहे। बड़ी संख्या में लोग पंडरी बस स्टैंड में लोग बस चलने की आस में भटकते रहे। शुक्रवार को परिवहन आयुक्त से मिलने के बाद बस संचालकों को उम्मीद थी की उनकी मांगों को लेकर शासन कोई निर्णय लेगा लेकिन शाम तक को विभाग की तरफ से जानकारी नहीं दी गई जिसके बाद आगे भी बसों के चलने की उम्मीद नहीं दिखाई दे रही है।
छत्तीसगढ़ बस आरपेटर फेडरेशन के संरक्षक प्रमोद दुबे ने बताया की बस मालिकों ने लॉकडाउन से लेकर आगे कुछ महीनों के लिए टैक्स में छूट मांगी है, फेडरेशन ने परिवहन विभाग से ई और M फार्म में छूट मांगी है ताकी वो बसों का संचालन कर पाए। राज्य सरकार ने 2 माह के टैक्स में छूट दी है, संघ ने एक और माह की छूट मांगी है। प्रमोद दुबे ने बताया की अगर यह दोनों छूट मिलती है तो सोशल डिस्टेंसिंग के साथ बस संचालक 20 से 30 प्रतिशत बसों का संचालन कर पाएंगे वर्ना डीजल का भी खर्च निकालना मुश्किल होगा ।
फेडरेशन ने देश की वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को पत्र लिखकर ईएमआई और ब्याज में छूट मांगी है जिसके बाद ही बस संचालकों को राहत मिलेगी। प्रदेश के बस आपरेटरों को उम्मीद है की सरकार उन्हे राहत देगी । बता दें की ई फार्म के तहत बस संचालकों को खड़ी बसों के लिए टैक्स नहीं देना होगा साथ ही M फार्म के तहत बस संचालकों को सिर्फ उन बसों का ही टैक्स भरना पड़ेगा जो सड़कों पर दौड़ रही हैं।